‘खूब लड़ी मर्दानी वो तो झांसी वाली रानी थी’ जी हाँ झांसी के रानी के बारे में कौन नहीं जानता. बच्चों के जुबान पर भी उनकी वीर गाथाएं रहती हैं. उस जमाने की एक ऐसी नारी जिसने अंग्रेजो का जमके सामना किया और उनके सामने डटकर खड़ी रही हैं. आप अगर झाँसी के रानी के रियल फोटो देखेंगे तो आपके चेहरे के सामने उनकी पूरी कहानी घुमने लगेंगी. तो आइये देखते हैं.

19 मई को रानी लक्ष्मीबाई की 175वीं मैरिज एनिवर्सिरी थी। रानी की बहादुरी के किस्से-कहानियों के साथ उनकी कुछ फोटोज भी हमेशा वायरल होती रहती हैं, जिन्हें रानी की असली फोटो होने का दावा किया जाता है।आज आपको इन्हीं वायरल फोटोज की सच्चाई बता रहा है।

रानी लक्ष्मीबाई की 4 फोटोज अक्सर सोशल मीडिया पर वायरल होती रही हैं। इनमें से एक है, जिसमें वह बाल खोले, माथे पर बिंदी लगाए दिख रही हैं। कहा जाता – इस फोटो को 159 साल पहले अंग्रेज फोटोग्राफर हाफमेन ने ली थी। वर्तमान समय में ये फोटो अहमदाबाद में एक संग्रहकर्ता के पास है। इसे भोपाल में एक प्रदर्शनी में भी लगाया गया था, जिसके बाद कुछ अखबारों ने भी इसे पब्लिश किया।लेकिन इनसब फोटो पर अबतक सवाल ही बना हुआ हैं की रानी की वास्तविक फोटो कौन सी हैं.

दूसरी फोटो में रानी सिंघासन पर मुकुट पहने बैठी हैं। इसे 1850 का बताया जाता है। कई जगह बताया जाता है इस फोटो को भी हाफमेन ने ही खींचा था। यह फोटो एक पोस्टकार्ड पर भी प्रकाशित हुई थी।

झांसी के समथर स्टेट के राजा रणजीत सिंह जूदेव कहते हैं, तब कैमरों का चलन नहीं था। अंग्रेजों के पास भी कैमरे नहीं थे, टेक्नोलॉजी ऐसी नहीं थी। इसलिए इस तरह की फोटो लेना संभव ही नहीं था। यह भी बनाई हुई या किसी दूसरी महिला की फोटो है।

इतिहास के जानकार मोहन नेपाली कहते हैं, ”ये दावा पुख्ता नहीं है कि ये रानी की ही फोटो है। दरअसल, रानी को देखने वाले एकमात्र अंग्रेज जॉन लेंग ने रानी के पहनावे, शारीरिक बनावट, चेहरे की बनावट के बारे में अपनी किताब में लिखा था। जॉन लेंग एक ऐसे अंग्रेज थे, जिन्होंने रानी को देखने के बाद उनकी सुन्दरता का बखान अपनी किताब ‘द वंर्डिंग ऑफ इंडिया’ में किया था।